Dear Readers
I am going to talk a bit about the Hindi Kartik month in this post.
Kartik is the 8th month in the Shaka calendar. It
corresponds to October- November months of Gregorian calendar. Kartik begins with the Sun's entry in Libra.
This year Kartik month starts from 6th October and ends on 4th November.
Main Festivals and Fasts During Kartik Maas This Year:
What Should be Done During Kartik Maas to Get Good Results:
Karwa Chauth: I have written a separate post on Karwa Chauth regarding the Moon rise time.
Dhan Trayodashi: New utensils should be purchased on this day. One should worship Shri Lakshminarayan in the evening. After worship, grains, clothes, medicines and lamps (deepak) should be donated as per one's capacity. This eradicates the fear of untimely death (Akaal Mrityu).
Narak Chaturdashi: One should light a 4 faced deepak (lamp) on this day in the memory of the elders who have died from lightning, electrocution, fire etc. After this one should donate as per his capacity.
A deepak of pure ghee should be lit on this day at midnight to celebrate Hanuman Jayanti.
Deepawali: I will write a separate post on it with muhurta.
Devprabodhini Ekadashi: Chaturmaas ends on this day.
इस साल कार्तिक मास 6 अक्तूबर से शुरू होगा और 4 नवम्बर को समाप्त होगा।
Festival/Fast Name
| Date |
Karwa Chauth Fast
This fast is observed for the long life of husband | 8 October |
Ahoi Ashtami Fast
This fast is observed for the long life of children and husband |
12 October
|
Dhan Trayodashi
|
17 October
|
Narak Chaturdashi/Shri Hanuman Jayanti
|
18 October
|
Deepawali/Diwali | 19 October |
Gowardhan Pooja | 20 October |
Bhratri Dooj/Bhai Dooj | 21 October |
Hariprabodhini Ekadashi/Devprabodhini Ekadashi | 31 October |
Tulsi Vivaah | 1 November |
Kartik Purnima Snan/Shri Guru Nanak Jayanti
| 4 November |
What Should be Done During Kartik Maas to Get Good Results:
Karwa Chauth: I have written a separate post on Karwa Chauth regarding the Moon rise time.
Dhan Trayodashi: New utensils should be purchased on this day. One should worship Shri Lakshminarayan in the evening. After worship, grains, clothes, medicines and lamps (deepak) should be donated as per one's capacity. This eradicates the fear of untimely death (Akaal Mrityu).
Narak Chaturdashi: One should light a 4 faced deepak (lamp) on this day in the memory of the elders who have died from lightning, electrocution, fire etc. After this one should donate as per his capacity.
A deepak of pure ghee should be lit on this day at midnight to celebrate Hanuman Jayanti.
Deepawali: I will write a separate post on it with muhurta.
Devprabodhini Ekadashi: Chaturmaas ends on this day.
प्रिय पाठकों
इस पोस्ट में मैं अभी आने वाले कार्तिक मास के बारे में लिखूंगा।
कार्तिक मास हिंदू कैलेंडर आठवां मास होता है। ग्रेगोरियन
कैलेंडर के अक्तूबर-नवम्बर महीनों में कार्तिक मास पड़ता है। इस मास में सूर्य तुला राशि में होता है।
इस साल कार्तिक मास 6 अक्तूबर से शुरू होगा और 4 नवम्बर को समाप्त होगा।
कार्तिक मास के प्रमुख व्रत व त्यौहार :
Festival/Fast Name
| Date |
करवा चौथ
| 8 अक्तूबर |
अहोई अष्टमी व्रत
पति और संतान की दीर्घायु के लिए यह व्रत रखा जाता है। |
12 अक्तूबर
|
धन त्रयोदशी
|
17 अक्तूबर
|
नरक चतुर्दशी /श्री हनुमान जयंती
|
18 अक्तूबर
|
दीपावली / दिवाली | 19 अक्तूबर |
गोवर्धन पूजा | 20 अक्तूबर |
भ्रातृ दूज/ भाई दूज | 21 अक्तूबर |
हरिप्रबोधिनी एकादशी /देवप्रबोधिनी एकादशी | 31 अक्तूबर |
तुलसी विवाह | 1 नवम्बर |
कार्तिक पूर्णिमा स्नान / श्री गुरु नानक जयंती
| 4 नवम्बर |
कार्तिक मास में सुख समृद्धि पाने के लिए क्या करना चाहिए :
करवा चौथ:
मैंने करवा चौथ के मुहूर्त के बारे में अलग से एक पोस्ट लिखी है।
धन त्रयोदशी: इस दिन नए बर्तन खरीदने चाहिए। शाम को श्री लक्ष्मीनारायण का पूजन करके यथाशक्ति अनाज , वस्त्र, दवाइयाँ और दीपक का दान करना चाहिए। ऐसा करने से अकाल मृत्यु का भय नहीं रहता।
नरक चतुर्दशी: इस दिन उल्का, बिजली, अग्नि इत्यादि से मृतक लोगों की शान्ति के लिए चौमुखी दिया जलाना चाहिए और फिर यथाशक्ति दान करना चाहिए।
इसी दिन अर्धरात्रि को घी का दीपक जलाकर हनुमान जयंती मनानी चाहिए।
दीपावली : मैं इस बारे में एक अलग पोस्ट लिखूंगा।
देवप्रबोधिनी एकादशी: इस दिन चातुर्मास समाप्त होगा।
धन त्रयोदशी: इस दिन नए बर्तन खरीदने चाहिए। शाम को श्री लक्ष्मीनारायण का पूजन करके यथाशक्ति अनाज , वस्त्र, दवाइयाँ और दीपक का दान करना चाहिए। ऐसा करने से अकाल मृत्यु का भय नहीं रहता।
नरक चतुर्दशी: इस दिन उल्का, बिजली, अग्नि इत्यादि से मृतक लोगों की शान्ति के लिए चौमुखी दिया जलाना चाहिए और फिर यथाशक्ति दान करना चाहिए।
इसी दिन अर्धरात्रि को घी का दीपक जलाकर हनुमान जयंती मनानी चाहिए।
दीपावली : मैं इस बारे में एक अलग पोस्ट लिखूंगा।
देवप्रबोधिनी एकादशी: इस दिन चातुर्मास समाप्त होगा।
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Gaurav Malhotra
Kindly give strong totke to bring back wife from her parents home
ReplyDeletehttp://www.theastrojunction.com/2016/09/Wife-Attraction-Mantra-from-Atharva-Ved.html
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